एजेंसी, मुंबई Published by: Kuldeep Singh Updated Sat, 03 Jul 2021 03:50 AM IST
महाराष्ट्र के पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख – फोटो : सोशल मीडिया
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अनिल देशमुख ने बॉम्बे हाईकोर्ट में कहा
देशमुख की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता अमित देसाई ने अदालत को बताया कि सीबीआई जांच की शुरुआत अप्रैल में हाई कोर्ट के आदेश से शुरू हुई लेकिन केंद्रीय जांच एजेंसी ने राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) नेता को अभियोजित करने से पहले राज्य सरकार की मंजूरी नहीं ली, जबकि उस समय वह लोकसेवक थे।
देसाई ने कहा कि मंजूरी के बिना देशमुख के खिलाफ भ्रष्टाचार और कदाचार की जांच ‘गैरकानूनी’ है। जस्टिस एसएस शिंदे और जस्टिस एनएम जामदार की पीठ के समक्ष जिरह करते हुए देसाई ने कहा, आप भावनाओं को किनारे कर सकते हैं लेकिन हम प्रक्रिया और कानून के राज की अनदेखी नहीं कर सकते। यहां तक कसाब जैसे व्यक्ति को भी इस देश के कानून के राज का लाभ मिला। इस देश में प्रत्येक को कानूनी प्रक्रिया का लाभ मिलता है।