नई दिल्ली2 घंटे पहले
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सुप्रीम कोर्ट ने हरियाणा के खिलाफ दिल्ली जल बोर्ड की याचिका शुक्रवार को खारिज कर दी। साथ ही सख्त टिप्पणी भी की। कहा, ‘यह तीसरी बार है, जब आप एक ही मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट आए हैं। आप आखिर कितनी याचिकाएं फाइल करेंगे। अगर ऐसी याचिकाएं दाखिल होना बंद न हुईं तो हम अर्जी दाखिल करने पर रोक लगा देंगे।’ सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार को फटकार लगाते हुए इस मामले में फिर कोर्ट न आने की चेतावनी भी दी।
दिल्ली जल बोर्ड के वकील से कहा, ‘हम आपको लगातार याचिका दाखिल न करने चेतावनी देते हैं।’ बता दें कि दिल्ली जल बोर्ड ने हरियाणा के खिलाफ अवमानना की कार्रवाई की मांग करते हुए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था। दिल्ली हरियाणा पर हमेशा आरोप लगता रहा है कि यमुना में अमोनिया का ज्यादा लेवल बढ़ने की वजह से दिल्ली पानी की सप्लाई को पर्याप्त मात्रा में सप्लाई नहीं कर पाता है।
पटाखों से सेहत पर क्या असर, दिल्ली वालों से पूछिए: कोर्ट
कोरोनाकाल में खराब वायु गुणवत्ता वाले शहरों में पटाखों की बिक्री पर प्रतिबंध के राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण (एनजीटी) के आदेश पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगाने से मना कर दिया है। जस्टिस एएम खानविलकर और संजीव खन्ना की बेंच ने कहा, ‘पटाखों से लोगों की सेहत पर क्या असर पड़ता है, इसके लिए किसी वैज्ञानिक अध्ययन की जरूरत नहीं।
आप दिल्ली वालों से पूछ लीजिए। वे इसके प्रभाव से अवगत हैं।’ दरअसल, एनजीटी ने खराब वायु गुणवत्ता वाले शहरों में पटाखों की बिक्री पर प्रतिबंध का आदेश दिया था। पटाखा विक्रेताओं व डीलरों ने इस आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देते हुए आईआईटी कानपुर की रिपोर्ट का हवाला दिया, जिसके मुताबिक पटाखे वायु प्रदूषण में योगदान देने वाले शीर्ष 15 कारकों की सूची में नहीं हैं।
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