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निःशुल्क विवेकानंद ई- लर्निंग गुरुकुल का शुभारंभ:वेबिनार में वक्ताओं ने कहा- विद्यार्थी शिक्षा, समाज व राष्ट्र की प्रगति का एक मूल आधार स्तंभ, ऐसे में इन्हें  शिक्षा से वंचित रखना राष्ट्र के लिए घातक

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फरीदाबाद3 घंटे पहले

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कक्षा 9 से 12वीं तक के विद्यार्थियों को पढ़ाया जाएगा। - Dainik Bhaskar

कक्षा 9 से 12वीं तक के विद्यार्थियों को पढ़ाया जाएगा।

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने हरियाणा प्रांत में विवेकानंद ई लर्निंग गुरुकुल का शुभारंभ किया है। संघ द्वारा संचालित इस विद्यार्थी शिक्षा सेवा आयाम का मूल मंत्र कोरोना से न डरेंगे, हर हाल में पढ़ेंगे, होगा। इसमें कोरोना शिक्षक योद्धा की महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे। जिसमें कक्षा छठी से आठवीं तक के विद्यार्थी अपने-अपने स्थान पर कक्षा 9 से 12 तक के सभी संकाय के विद्यार्थियों को विज्ञान, सामाजिक विज्ञान, राजनीतिक विज्ञान, गणित, इंग्लिश सहित अन्य विषयों की ऑनलाइन पढ़ाई होगी। युवाओं के प्रेरणास्रोत स्वामी विवेकानंद की पुण्यतिथि पर आरएसएस द्वारा विवेकानंद ई- लर्निंग गुरुकुल का शुभारंभ वेबिनार के माध्यम से किया गया है।

विवेकानंद ई लर्निंग गुरुकुल का शुभारंभ करने के बाद शिक्षाविदों ने कहा कि कोरोना वैश्विक महामारी ने विगत वर्षों में अनेक तरह की परेशानियों का सामना समाज कर रहा हैं। कोरोना के प्रकोप से शिक्षा का क्षेत्र सर्वाधिक रूप से प्रभावित है। विद्यार्थी शिक्षा समाज व राष्ट्र की प्रगति का एक मूल आधार स्तंभ है। वर्तमान में शिक्षा पद्धति में संसाधनों व तकनीक की समस्या के कारण विद्यार्थी को शिक्षा संबंधित अनेक परेशानियों का सामना करना पड़ा। ऐसे विधार्थियों की शिक्षा प्रभावित न हो और कोई भी विद्यार्थी किसी भी विषय का शिक्षक न मिलने के कारण अपने आपको शिक्षा से वंचित न समझे। इसीलिए राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने हरियाणा प्रांत में विवेकानंद ई लर्निंग गुरुकुल का शुभारंभ किया है। मुख्य वक्ता के रूप में क्षेत्रीय संघचालक सीताराम व्यास ने गुरु-शिष्य के संबंध की व्याख्या की। उन्होंने लघु कथाओं और प्रसंग संस्मरण के माध्यम से गुरुकुल की परिभाषा अभिव्यक्त करते हुए संवेदना और संस्कार को शिक्षा का महत्वपूर्ण तत्व बताया। उन्होंने कहा कि देश के स्वावलंबन के लिए विद्या दान आवश्यक है।

रिटायर्ड शिक्षक देंगे ज्ञान

मुख्य वक्ता ने बताया कि प्रत्येक जिला केंद्र से अध्यापकों की सूची तैयार की गई है। शिक्षा सेवा केंद्र में दसवीं कक्षा, ग्यारहवीं, बारहवीं, बीएड, जेबीटी, स्नातकोत्तर विधार्थी, अध्यापक, सेवानिवृत अध्यापक, कॉलेज विद्यार्थी कार्य से जुड़े स्वयंसेवक और राष्ट्र सेविका समिति के साथ मिलकर लोगों को इस कार्य से जोड़ा गया है। 9 से 12वीं कक्षाओं को ऑनलाइन पढ़ाने के लिए 120 शिक्षकों ने और शिक्षण प्राप्त करने वाले 1400 विद्यार्थियों ने गूगल फॉर्म पर पंजीकरण कराया है।

कहां कहां चलेंगे शिक्षा सेवा केंद्र

सेवा बस्ती, कोई सार्वजनिक स्थान, बस्ती या शाखा और घर को ही केंद्र मानकर छठी कक्षा से आठवीं कक्षा तक के विद्यार्थियों के लिए प्रत्यक्ष रूप से चलने वाले इन शिक्षा सेवा केंद्रों में चार- पांच के समूह में विद्यार्थियों को शिक्षक पढ़ाएंगे। प्रांत के सभी जिलों ने व्यापक स्तर पर अपनी भागीदारी सुनिश्चित कर इस अभियान को सफल बनाने का संकल्प लिया। इस मौके पर राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद के निदेशक डॉ ऋषि गोयल, विद्या भारती के प्रांत अध्यक्ष, सेवानिवृत शिक्षाविद देव प्रसाद भारद्वाज, संघ के प्रांत प्रचारक विजय कुमार, प्रांत कार्यवाह सुभाष चंद्र, सहप्रांत कार्यवाह प्रताप सिंह आदि मौजूद रहे।

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