क़तर में चल रहे फ़ीफ़ा वर्ल्ड कप में कई उलटफेर हुए. कई चैम्पियन टीमें अपना पहला मैच ही हार गईं.
इन्हीं में से एक टीम थी अर्जेंटीना की टीम.
अर्जेंटीना की टीम अपना पहला ही मैच सऊदी अरब से हार गई थी.
लेकिन इसके बाद बुरे दौर को पीछे छोड़ते हुए अर्जेंटीना ने प्री-क्वार्टर फ़ाइनल में न सिर्फ़ जगह बनाई, बल्कि अपने ग्रुप में टॉप पर रही.अपने आख़िरी ग्रुप मैच में अर्जेंटीना ने पोलैंड को 2-0 से हरा दिया.
छह अंकों के साथ अर्जेंटीना की टीम अपने ग्रुप में टॉप पर रही.
चार अंकों के साथ पोलैंड की टीम दूसरे और इतने ही अंकों के साथ मैक्सिको की टीम तीसरे नंबर पर रही.
लेकिन गोल अंतर के कारण मैक्सिको की टीम पिछड़ गई और वर्ल्ड कप से बाहर हो गई.
अर्जेंटीना ने कैसे किया ये कारनामा
सऊदी अरब से पहला मैच गँवाने के बाद पूर्व चैम्पियन अर्जेंटीना की टीम को हर तरफ़ से आलोचनाओं का सामना करना पड़ा.
उस समय ऐसा कहा जाने लगा कि कहीं अर्जेंटीना ग्रुप स्टेज़ से ही वर्ल्ड कप से बाहर न हो जाए.
अर्जेंटीना का दूसरा मैच मैक्सिको से था और ये मैच उसके लिए काफ़ी अहम था.
लेकिन अर्जेंटीना के कप्तान लियोनेल मेसी ने मैक्सिको के ख़िलाफ़ मैच में अहम भूमिका निभाई और अपनी टीम के अभियान को वापस पटरी पर लेकर आए.
मैक्सिको के ख़िलाफ़ मिली जीत ने अर्जेंटीना की टीम में उत्साह भरने का काम किया.
पोलैंड के ख़िलाफ़ मैच में जीत अर्जेंटीना को सीधे प्री-क्वार्टर फ़ाइनल में पहुँचा देती और हुआ भी यही.
वैसे तो अर्जेंटीना की टीम ने पूरे मैच में अपना दबदबा दिखाया. लेकिन उसने गोल किया दूसरे हाफ़ में.
हालाँकि मेसी को पहले हाफ़ में ही पेनल्टी पर गोल करने का मौक़ा मिला था, लेकिन ऐसा हुआ नहीं.
पोलैंड के गोलकीपर ने मेसी के शॉट को रोक लिया और अर्जेंटीना के कैंप में निराशा की लहर दौड़ गई.
दूसरे हाफ़ में एलेक्सिस मैक एलिस्टर ने गोल करके अर्जेंटीना को बढ़त दिलाई और फिर 67वें मिनट में जुलियन अल्वारेज़ ने गोल करके स्कोर 2-0 कर दिया.