May 6, 2024 : 4:06 PM
Breaking News
Other

डेरा सच्चा सौदा के गुरमीत राम रहीम हत्या के दोषी पाए गए

डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम डेरा प्रेमी रंजीत सिंह की हत्या के मामले में दोषी करार दिया गया है.

पंचकूला में सीबीआई की विशेष अदालत ने उन्हें मामले में दोषी ठहराया है.

इस मामले में गुरमीत राम रहीम सिंह के अलावा पाँच अन्य लोगों को भी दोषी पाया गया है और 12 अक्टूबर को इनकी सज़ा का ऐलान होगा.

हालँकि, राम रहीम बलात्कार और एक पत्रकार की हत्या के मामले में पहले से ही जेल में अपनी सज़ा काट रहे हैं.रणजीत सिंह डेरा की प्रबंधित 10 सदस्यों वाली समिति के सदस्य थे. साल 2002 में उनकी हत्या कर दी गई थी, जिसके लिए डेरा प्रमुख को अभियुक्त माना गया था.

कौन हैं गुरमीत राम रहीम सिंह?

गुरमीत राम रहीम का विवादों से पुराना रिश्ता रहा है.

15 अगस्त 1967 को राजस्थान के श्रीगंगानगर में जन्मे राम रहीम 1990 में डेरा सच्चा सौदा के प्रमुख बने.डेरा की स्थापना 1948 में शाह मस्ताना ने की थी. आज पूरे देश में इनके 50 से अधिक आश्रम और लाखों की संख्या में अनुयायी हैं.

डेरा का प्रमुख काम सामाजिक कार्य, रक्तदान और ग़रीबों के लिए मदद जुटाना आदि है. इतना ही नहीं, डेरा प्रमुख फ़िल्मों में भी आजमाइश कर चुके हैं.

गुरमीत राम रहीम के बेटे की शादी कांग्रेस सदस्य हरमिंदर सिंह जस्सी की बेटी के साथ हुई है. हालांकि हरियाणा के पिछले चुनाव में उन्होंने भारतीय जनता पार्टी का साथ दिया था.

सिरसा स्थित आश्रम में डेरा का अस्पताल भी है जहां लोगों का सस्ता इलाज़ किया जाता है.

डेरा प्रमुख बनने के बाद से राम रहीम विवादों में कई बार घिरे.

राम रहीम से जुड़ा पहला चर्चित विवाद 1998 में आया. तब गांव बेगू में एक बच्चा डेरा की जीप के नीचे आ गया. यह ख़बर वहां के समाचार पत्र में छापी गई. डेरा के लोगों ने अख़बार के ऑफ़िस में जाकर हंगामा किया. बाद में डेरा की ओर से माफ़ी मांगी गई.

हत्या और यौन उत्पीड़न का मामला

साल 2002 में एक बड़ा मामला सामने आया. एक कथित साध्वी ने तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय के मुख़्य न्यायाधीश को एक चिट्ठी लिख कर गुरमीत राम रहीम पर यौन शोषण का आरोप लगाया. इस मामले की जांच सीबीआई को सौंप दी गई.

उसी साल राम रहीम पर एक पत्रकार रामचंद्र छत्रपति, जो डेरा सच्चा सौदा पर ख़बरें लिख रहे थे और डेरा के ही प्रबंधक रणजीत सिंह की हत्या का आरोप लगा. सिरसा के सांध्य दैनिक ‘पूरा सच’ के संपादक रामचंद्र छत्रपति को गोलियां मारी गईं.

गुरुगोविंद सिंह की पोशाक में फ़ोटो

2007 में डेरा सलावतपुरा में डेरा प्रमुख गुरमीत सिंह ने गुरुगोबिंद सिंह की वेशभूषा में फ़ोटो खिंचवाए. इसके विरोध में बठिंडा में डेरा प्रमुख का पुतला फूंका गया.

प्रदर्शनकारी सिखों पर डेरा प्रेमियों ने हमला बोल दिया, इसके बाद पूरे उत्तर भारत में हिंसक घटनाएं हुईं. सिखों व डेरा प्रेमियों के बीच जगह-जगह टकराव हुए. इसी दौरान एक सिख युवक कोमल सिंह की मौत हो गई.

तब पंजाब में डेरा प्रमुख के जाने पर पाबंदी लगाई गई, लेकिन डेरा सच्चा सौदा इस मामले में झुकने को तैयार नहीं था. बिगड़ती स्थिति को देखते हुए पूरे पंजाब व हरियाणा में सुरक्षा बल तैनात कर दिया गया.

जज को मांगनी पड़ी सुरक्षा

साल के मध्य में सीबीआई ने डेरा प्रमुख गुरमीत सिंह को अदालत में पेश होने के आदेश जारी किए. डेरा ने सीबीआई के विशेष जज को भी धमकी भरा पत्र भेजा जिसके चलते जज को भी सुरक्षा मांगनी पड़ी.

न्यायालय ने हत्या और बलात्कार जैसे संगीन मामलों में मुख्य अभियुक्त डेरा प्रमुख गुरमीत सिंह को जमानत दे दी जबकि हत्या के मामलों के सहआरोपी जेल में बंद थे.

ये मामले पंचकुला स्थित सीबीआई की विशेष अदालत में विचाराधीन हैं.

2007 से लेकर अब तक इन तीनों मामलों की अदालती कार्रवाई को प्रभावित करने के लिए डेरा सच्चा सौदा ने कोई कसर नहीं छोड़ी.

2007 में सीबीआई अदालत अंबाला में थी. उस दौरान पेशी के लिए बुलाए जाने पर डेरा प्रमुख की ओर से वहां हजारों समर्थकों को एकत्रित कर शक्ति प्रदर्शन किया गया और लगातार अदालत पर दबाव की रणनीति के तहत लोगों का हुज़ूम इकट्ठा किया गया.

फ़कीरचंद की हत्या का मामला

2010 में डेरा के ही पूर्व साधु राम कुमार बिश्नोई ने उच्च न्यायालय में याचिका दायर कर डेरा के पूर्व मैनेजर फ़कीर चंद की गुमशुदगी की सीबीआई जांच की मांग की.

बिश्नोई का आरोप था कि डेरा प्रमुख के आदेश पर फ़कीरचंद की हत्या कर दी गई.

इस मामले में भी उच्च न्यायालय ने सीबीआई जांच के आदेश दिए. हालांकि सीबीआई जांच के दौरान मामले में सुबूत नहीं जुटा पाई और क्लोज़र रिपोर्ट फाइल कर दी.

बिश्नोई ने उच्च न्यायालय में क्लोज़र को चुनौती दे रखी है.

डेरा के साधुओं को नपुंसक बनाने का आरोप

फ़तेहाबाद ज़िले के कस्बा टोहाना के रहने वाले हंसराज चौहान (पूर्व डेरा साधू) ने जुलाई 2012 में उच्च न्यायालय में याचिका दायर कर डेरा सच्चा सौदा प्रमुख पर डेरा के 400 साधुओं को नपुंसक बनाए जाने का आरोप लगाया था.

अदालत के सामने 166 साधुओं का नाम सहित विवरण प्रस्तुत किया गया. यह मामला भी अदालत में विचाराधीन है.

Related posts

हैदराबाद रेप केस: छह साल की बच्ची से रेप और हत्या का अभियुक्त रेलवे ट्रैक पर मृत मिला

News Blast

UP TET का पेपर हुआ लीक, रद्द की गई परीक्षा, STF जांच में जुटी

News Blast

Supreme Court ने किसान महापंचायत को लगाई फटकार, कहा- आपने पूरे शहर को बनाया बंधक

News Blast

टिप्पणी दें