May 1, 2024 : 11:48 PM
Breaking News
MP UP ,CG

MP में वैक्सीन का टोटा:डोज खत्म होने से 2 जुलाई का विशेष अभियान टालना पड़ा, केंद्र डिमांड पूरी करेगी तभी नवंबर तक 18+ आबादी 100% वैक्सीनेट हो पाएगी

  • Hindi News
  • Local
  • Mp
  • Due To The End Of The Dosage, The Special Campaign Of 2 July Had To Be Postponed, The Center Will Fulfill The Demand, Only Then By November 18+ Population Will Be 100% Vaccinated

मध्य प्रदेशएक घंटा पहले

  • कॉपी लिंक

कोरोना की तीसरी लहर के बीच डेल्‍टा प्‍लस वैरिएंट को बेहद खतरनाक माना जा रहा है। एक्सपर्ट का कहना है, वैक्‍सीनेशन के दोनों डोज लेने के बाद इस खतरे को बहुत हद तक टाला जा सकता है। मध्य प्रदेश की स्थिति देखें, तो अब तक 32% पात्र आबादी (18+ से ज्यादा उम्र के लोग) को वैक्सीन का पहला डोज लग चुका है। दोनों डोज मात्र 4% आबादी को लग पाया है। यानी 96 % आबादी अभी कम्पलीट वैक्सीनेशन से दूर है।

स्वास्थ्य विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा- मध्य प्रदेश को हर सप्ताह कम से कम 50 लाख डोज की जरुरत है। केंद्र सरकार यदि हमारी डिमांड को लगातार पूरा करती है, तो नवंबर तक पात्र आबादी 100% वैक्सीन के सुरक्षा कवच में आ जाएगी। उन्होंने यह भी बताया, वैक्सीन के 50 लाख डोज का स्टॉक होना चाहिए। प्रदेश में 21 से 30 जून तक वैक्सीनेशन महा अभियान चलाया। इस दौरान 51 लाख से ज्यादा डोज लगाए गए। वैक्सीन की कमी के चलते 2 दिन अभियान को ड्राॅप करना पड़ा।

सरकार ने पहले 1 से 3 जुलाई तक वैक्सीनेशन महा अभियान चलाने का फैसला किया था, लेकिन स्टॉक में सिर्फ 10 डोज हैं। अब अभियान 2 जुलाई को ड्राॅप कर दिया है। मध्य प्रदेश पिछले 10 दिन में तीन बार देश में सबसे ज्यादा वैक्सीन लगाने का रिकार्ड बना चुका है। अधिकारियों का कहना है, यदि डिमांड के अनुरूप डोज उपलब्ध हों, तो 4 महीने में पात्र आबादी 100% वैक्सीनेट हो जाएगी।

दरअसल, दिक्कत यह है कि किस राज्य को कितनी डोज देना है, यह केंद्र सरकार पर निर्भर है। मौजूदा व्यवस्था के तहत केंद्र सरकार राज्यों की डिमांड के हिसाब से नहीं, बल्कि वैक्सीन की उपलब्धता के अनुरूप सप्लाई की जा रही है।

इसलिए चाहिए एक सप्ताह पहले वैक्सीन

राज्य टीकाकरण अधिकारी डाॅ. संतोष शुक्ला का कहना है, केंद्र सरकार से यदि एक सप्ताह एडवांस वैक्सीन की सप्लाई हो जाए तो सत्र बढ़ाए जाने में दिक्कत नहीं होगी। यदि 40 से 50 लाख डोज स्टाॅक में रहेंगे, तो समय रहते उन्हें हर जिले में पहुंचाया जा सकता है। वर्तमान में टीका लगवाने वालों की भीड़ जमा हो रही है। इसे देखते हुए हर सेंटर में पर्याप्त डोज उपलब्ध होना चाहिए।

तीसरी लहर में कितना खतरा?

तीसरी लहर की बात करें, तो अनलॉ‍किंग प्रक्रिया और बड़ी संख्‍या में आबादी के एक जगह से दूसरे जगह आने-जाने से हमारे लिए चुनौती भी बढ़ेंगी, लेकिन हाल में मध्‍य प्रदेश में डेल्टा प्लस वैरिएंट के 8 मामले सामने आए हैं। इनमें से 6 मरीज पूरी तरह से रिकवर हो चुके हैं। जिन 2 मरीज की मौत हुई, उन्‍होंने वैक्‍सीन नहीं लगवाया था। जबकि, बचने वाले 6 मरीजों को वैक्‍सीन लग गई थी। इससे स्‍पष्‍ट होता है, वैक्‍सीनेशन वाले मरीजों में मृत्‍यु के चांस ना के बराबर है। वैक्‍सीनेशन के बाद संक्रमण होने की स्थिति में मरीज के मरने की गुंजाईश बहुत कम होगी।

टीका इतना महत्वपूर्ण क्यों है?

जहां कोविड उपयुक्त व्यवहार हमें संक्रमण को पकड़ने से बचा सकता है। वहीं, टीके संक्रमण और इसके फैलने की दर को भी कम करते हैं। बकौल एम्स दिल्ली के डायरेक्टर डाॅ. रणदीप गुलेरिया, सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि वैक्सीन इस गंभीर बीमारी के विकसित होने की संभावना को 90% से अधिक कम कर देती हैं।

मध्य प्रदेश में 18 से 44 साल के युवाओं का वैक्सीनेशन 5 मई से शुरू हुआ था। अब तक इस आयु वर्ग के 1 करोड़ लोगों को टीक लग पाया है, जबकि 2 करोड़ 59 लाख को टीका लगना बाकी है।

MP में आज लगेगी 10 लाख वैक्सीन:प्रदेश में 7000 से ज्यादा सेंटरों पर वैक्सीनेशन जारी, भोपाल के प्रत्येक वार्ड में सेंटर; ऑन स्पॉट करा सकेंगे रजिस्ट्रेशन

खबरें और भी हैं…

Related posts

भोपाल में 68 साल की महालक्ष्मी के साथ 68 लोगों ने कोरोना को हराया, 50 साल से अधिक उम्र के 11 मरीज ठीक हुए

News Blast

12वीं के छात्र ने पैरों से लिखकर हासिल किए 82 फीसदी अंक; अब सरकार उठाएगी इलाज और पढ़ाई का खर्च

News Blast

ठंड में निकल रहा पसीना: मौसम के बदल गए मिजाज, दिन और रात के पारे में उछाल से ठंड गायब

Admin

टिप्पणी दें