May 11, 2024 : 1:05 PM
Breaking News
राष्ट्रीय

दुनिया में बढ़ रहे बाल विवाह: यूनिसेफ की रिपोर्ट जारी, भारत में भी स्थिति अच्छी नहीं; बांग्लादेश, ब्राजील, नाइजीरिया जैसे देशों के साथ जगह मिली

[ad_1]

Hindi NewsNationalChild Marriages Are Increasing In The World, The Situation Is Not Good In India Also; UNICEF’s ‘Kovid 19: A Threat To Progress Against Child Marriage’ Report Released

Ads से है परेशान? बिना Ads खबरों के लिए इनस्टॉल करें दैनिक भास्कर ऐप

नई दिल्लीएक घंटा पहलेलेखक: भद्रा शर्मा

कॉपी लिंकरिपोर्ट के अनुसार, बच्चों की जल्दी शादी करने और युवावस्था में होने वाली मौत के बीच भी सीधा संबंध। - Dainik Bhaskar

रिपोर्ट के अनुसार, बच्चों की जल्दी शादी करने और युवावस्था में होने वाली मौत के बीच भी सीधा संबंध।

दुनिया में बाल विवाह के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। दशक के अंत से पहले 18 साल से कम उम्र की लड़कियों के एक करोड़ अतिरिक्त बाल विवाह हो सकते हैं। दुनिया की बालिकावधुओं में आधी से ज्यादा पांच देशों में हैं। इन देशों में एक भारत भी है। संयुक्त राष्ट्र संघ से जुड़े संगठन यूनिसेफ की रिपोर्ट ‘कोविड -19 : ए थ्रेट टू प्रॉग्रेस अगेंस्ट चाइल्ड मैरिज’ में यह निष्कर्ष दर्ज है।

रिपोर्ट अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के मौके पर जारी की गई। रिपोर्ट में बताया गया है कि दुनियाभर में आज जीवित लगभग 65 करोड़ लड़कियों और महिलाओं का विवाह बचपन में हुआ। इनमें से आधी संख्या बांग्लादेश, ब्राजील, इथोपिया, भारत और नाइजीरिया में है। दुनिया की तीन में से एक बाल वधु भारत में रहती है।

भारत की तरह नेपाल की बात करें तो वहां शादी की कानूनन उम्र 20 वर्ष है। लेकिन हालात वहां भी खराब हैं। यहां लड़कियां अधिकांशत: घर में ही रहती हैं। ऐसे में उनके लिए जल्द विवाह को टालना मुश्किल हो जाता है। पर्यटन नेपाल में आय का प्रमुख साधन है। लेकिन कोरोना ने इसे भी चोट पहुंचाई है।

इससे लाखों लोगों की नौकरियां चली गईं। युवा पहाड़ों में बसे अपने गांव में हैं। ऐसे में विवाह उनके लिए जीवन में आगे बढ़ने का सबसे सहज विकल्प है। रिपोर्ट में आशंका जताई गई है कि इस दशक के अंत से पहले ही 18 साल से कम उम्र की शादियों में एक करोड़ का आंकड़ा और जुड़ सकता है।

कोरोना ने बिगाड़े हालात, शिक्षा से सुधर सकते हैंयूनिसेफ की वरिष्ठ सलाहकार ननकली मकसूद के मुताबिक, ‘कोरोना महामारी ने लाखों लड़कियों के लिए स्थिति को और बदतर बना दिया है। क्योंकि बहुत से बेरोजगार हो चुके युवा इन दिनों अपने घरों पर हैं। इसका प्रभाव कम करने के लिए तत्काल कदम उठाए जाने चाहिए।

स्कूलों को खोलकर, प्रभावी कानून और नीतियां बनाकर, स्वास्थ्य एवं परिवारों के लिए सामाजिक सुरक्षा देकर हम बाल विवाह को रोक सकते हैं। बच्चियों से उनका बचपन छिनने से बचा सकते हैं।’ वहीं यूनिसेफ इंडिया की प्रतिनिधि यास्मीन अली हक ने कहा, ‘भारत में बालविवाह रोकने के लिए हमें सबसे गरीब परिवारों पर विशेष ध्यान देना होगा। बच्चियों की पढ़ाई और नौकरी के अवसर देकर हम इस प्रथा पर अंकुश लगा सकते हैं।’

जल्द शादी और जल्द मौत के बीच भी सीधा संबंधरिपोर्ट के अनुसार, बच्चों की जल्दी शादी करने और युवावस्था में होने वाली मौत के बीच भी सीधा संबंध है। विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, विकासशील देशों में 15 से 19 वर्ष की लड़कियों में गर्भावस्था की जटिलताएं और प्रसव उनकी जल्द मृत्यु का प्रमुख कारण है। बालवधुओं के बच्चों में शिशु मृत्यु दर का खतरा भी अधिक रहता है।

खबरें और भी हैं…

[ad_2]

Related posts

घर में घुसे बदमाश, परिवार को बनाया बंधक:शूटआउट के बाद दोनों पकड़े गए, पैर में गोली लगने से हुए जख्मी

News Blast

दो पुलिसकर्मियों की बेटी ने भी मारी बाजी, एएसआई की बेटी को छठवां और इंस्पेक्टर की बेटी को मिला 33वां रैंक

News Blast

अनलॉक के तीन महीनों बाद भी हाल बेहाल; चार इंडिकेटर्स से जानिए क्या है भारत की इकोनॉमी का स्टेटस

News Blast

टिप्पणी दें