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- Oxford University Coronavirus Vaccine Will Be Prepared By Indian Company Serum Institute
एक महीने पहले
- सीरम इंस्टीट्यूट के सीईओ अडार पूनावाला के मुताबिक, वैक्सीन को लाने से पहले इसके 30 करोड़ डोज तैयार कर लिए जाएंगे
- अगस्त के अंत तक संक्रमण के सबसे ज्यादा मामलों वाले मुम्बई और पुणे में 4 से 5 हजार लोगों पर होगा वैक्सीन का ट्रायल
ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी की वैक्सीन का ह्यूमन ट्रायल भारत में भी होगा। देश में यह ट्रायल सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया अगस्त के अंत तक 5 हजार वॉलंटियर्स पर करेगा। कंपनी के सीईओ अडार पूनावाला का कहना है कि अगर ट्रायल सफल होता है तो 2021 की पहली तिमाही तक वैक्सीन के 30 से 40 करोड़ डोज तैयार किए जा सकेंगे। वैक्सीन इस साल के अंत तक आ सकती है। वैक्सीन के एक डोज की कीमत 1 हजार रुपए या इससे कम हो सकती है।
ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी और एस्ट्राजेनेका कंपनी भारत के सीरम इंस्टीट्यूट के साथ मिलकर वैक्सीन को तैयार कर रही है। भारत में यह वैक्सीन कोविशील्ड के नाम से लॉन्च होगी। इस वैक्सीन की सप्लाई भारत समेत 60 दूसरे देशों में होगी। कंपनी द्वारा बनाई जाने वाली वैक्सीन 50 फीसदी भारत के लिए होगी।
पुणे में 4 से 5 हजार वॉलंटियर्स को दी जाएगी वैक्सीन
पूनावाला के मुताबिक, हम ट्रायल की परमिशन के लिए ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया से आवेदन कर रहे हैं। अनुमति मिलने में एक से दो हफ्ते लग सकते हैं। ट्रायल के लिए मरीजों तक वैक्सीन पहुंचने में तीन हफ्ते लगेंगे। अगस्त के अंत तक पुणे और मुम्बई में होने वाले ट्रायल में 4 से 5 हजार वॉलंटियर्स को वैक्सीन दी जाएगी क्योंकि यहां संक्रमण के सबसे ज्यादा मामले देखे गए हैं। यह तीसरे चरण का ट्रायल है।
हर माह 7 करोड़ डोज तैयार करने की योजना
पूनावाला का कहना है कि शुरुआती चरण के ट्रायल में यह साबित हो चुका है कि वैक्सीन सुरक्षित है इसलिए देश में होने वैक्सीन ट्रायल में बुजुर्गों और हेल्थ वर्करों को भी शामिल किया जाएगा। वैक्सीन तैयार करने के लिए कंपनी विशेष अनुमति लेगी ताकि हर माह इसके 7 करोड़ डोज तैयार किए जा सकें।
इने 30 लाख डोज तैयार किए गए
पूनावाला के मुताबिक, सबकुछ योजना के मुताबिक होता है तो तीसरे चरण के ट्रायल में दो महीने लगेंगे इसके बाद नवंबर तक अंतिम अनुमति मिल सकती है। अभी जो हालात हैं उसके मुताबिक, इसे अगले साल पहली या दूसरी तिमाही में लोगों तक पहुंचाया जा सकता है। कंपनी ने वैक्सीन के 30 लाख डोज तैयार कर लिए हैं। इसका निर्माण मशीनरी क्षमता और सटीक परिणाम समझने के लिए किया गया है।
क्लीनिकल ट्रायल में असरदार साबित हुई वैक्सीन
सोमवार को क्लीनिकल ट्रायल के नतीजे जारी करते हुए ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी ने कहा था, नतीजे अच्छे सामने आए हैं। सोमवार को मेडिकल जर्नल द लैंसेट में छपी रिपोर्ट के मुताबिक, यह वैक्सीन पूरी तरह सुरक्षित और असरदार है। इस जानकारी के बाद ऑक्सफोर्ड की वैक्सीन फ्रंट रनर वैक्सीन की लिस्ट में आगे आ गई है।
ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी की ओर से किए गए ट्वीट में भी कहा गया है कि AZD1222 नाम की इस वैक्सीन को लगाने से अच्छा इम्यून रिस्पांस मिला है। वैक्सीन ट्रायल में लगी टीम और ऑक्सफोर्ड के निगरानी समूह को इस वैक्सीन में सुरक्षा को लेकर कोई चिंता वाली बात नजर नहीं आई और इससे ताकतवर रिस्पांस पैदा हुआ है।