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2 घंटे पहले
आज महाशिवरात्रि है। देशभर के सभी 12 ज्योतिर्लिगों में दर्शन का खास महत्व है। लेकिन, कोरोना के चलते मंदिरों में कई तरह की पाबंदियां भी हैं। दैनिक भास्कर आपके लिए लाया है देश के 2 प्रमुख ज्योतिर्लिंग सोमनाथ (सौराष्ट्र, गुजरात) और महाकालेश्वर (उज्जैन, मध्यप्रदेश) के महाशिवरात्रि की पूजा-आरती के वीडियो। आप घर बैठे सबसे पहले दोनों ज्योतिर्लिंगों के आज के दर्शन का लाभ ले सकते हैं।
महाकालेश्वर में सिर्फ 25 हजार श्रद्धालु कर सकेंगे दर्शन
मध्यप्रदेश के उज्जैन में महाकालेश्वर ज्योतिर्लिंग स्थित है। ये एकमात्र दक्षिणमुखी ज्योतिर्लिंग है। यह एकमात्र ऐसा मंदिर है, जहां सुबह ब्रह्म मुहूर्त की आरती में महाकालेश्वर को भस्म चढ़ाई जाती है, इसे भस्मारती कहते हैं। दुनियाभर के लोग इस आरती के दर्शन करने खासतौर पर आते हैं।
इस बार कोरोना की वजह से महाकालेश्वर की दर्शन व्यवस्था में कई बदलाव किए गए हैं। यहां आने वाले श्रद्धालुओं को कम से कम डेढ़ किमी तक पैदल चलना होगा। दर्शन में डेढ़ घंटे से ज्यादा समय लग सकता है। प्रशासन को उम्मीद है कि महाशिवरात्रि के दिन कम से कम 25 हजार श्रद्धालु महाकाल के दर्शन करेंगे।
हर साल महाशिवरात्रि पर करीब 2 लाख लोग यहां दर्शन करने आते हैं। दर्शन के समय श्रद्धालुओं को कोरोना गाइडलाइन के तहत मास्क, सोशल डिस्टेंसिंग, सेनेटाइजेशन के तय नियमों का पालना करना होगा।
सोमनाथ में भी ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन और कोरोना गाइडलाइन के साथ दर्शन होंगे
12 ज्योतिर्लिगों में सोमनाथ पहले स्थान पर हैं। शिव महापुराण में सभी ज्योतिर्लिंगों के बारे बताया गया है। इस ज्योतिर्लिंग के संबंध में मान्यता है कि इसकी स्थापना चंद्रदेव ने की थी। चंद्र का एक नाम सोम है। इसी वजह से इसे सोमनाथ ज्योतिर्लिंग के नाम से जाना जाता है। चंद्रदेव इस शिवलिंग की पूजा करने दक्ष प्रजापति के शाप से मुक्ति मिली थी।
कोरोना महामारी की वजह से भक्तों को दर्शन के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन कराने होंगे। इसके बाद ही भक्त दर्शन के लिए मंदिर में प्रवेश कर पाएंगे। साथ ही, श्रद्धालुओं को मास्क, सोशल डिस्टेंसिंग और सेनेटाइजन का भी ध्यान रखना होगा।
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