भारतीय सेना ने शनिवार को बिहार रेजिमेंट के सैनिकों के साहस और वीरता को सलाम करते हुए एक वीडियो ट्वीट किया है। सेना ने 21 साल पहले कारगिल युद्ध में उनके योगदान को भी याद किया है। सेना की उत्तरी कमांड ने ट्वीट किया, "ध्रुव वॉरियर्स की गाथा- बिहार रेजीमेंट के शेर लड़ने के लिए जन्मे हैं। ये बैट (चमगादड़) नहीं हैं। ये बैटमैन हैं। हर सोमवार के बाद मंगलवार आता है। बजरंग बली की जय।"
#IndianArmy #21yearsofKargil
The Saga of #DhruvaWarriors and The Lions of #BiharRegiment.
"Born to fight.They are not the bats. They are the Batman."
"After every #Monday, there will be a #Tuesday. Bajrang Bali Ki Jai"@adgpi@MajorAkhill #NationFirst pic.twitter.com/lk8beNkLJ7— NorthernComd.IA (@NorthernComd_IA) June 20, 2020
एक मिनट 57 सेकंड का है वीडियो
जय बजरंग बली बिहार रेजीमेंट का नारा है। जब बिहार रेजीमेंट के जवान जब युद्ध पर जाते हैं तो यही उद्घोष करते हैं।1 मिनट 57 सेकंड के वीडियो में 1857 से 1999 तक रेजिमेंट के मिशन के बारे में बताया गया है। इसमें बताया गया कि कारगिल में बिहार रेजिमेंट की पहली बटालियन ने पाकिस्तानी सेना से एक रणनीतिक क्षेत्र छीन लिया था।
कर्नल संतोष बाबू को श्रद्धांजलि दी
वीडियो में मेजर अखिल प्रताप कहते हैं, “21 साल पहले यह वही महीना था। बिहार रेजिमेंट ने कारगिल घुसपैठियों को मार गिराया था। वे हिम्मत के साथ गए और गौरव के साथ वापस आए।" सेना ने गलवान हिंसा में शहीद हुए कर्नल संतोष बाबू को भी श्रद्धांजलि दी।
सभी प्रमुख युद्धों में शामिल रही बिहार रेजिमेंट
आजादी के बाद से लड़े गए सभी प्रमुख युद्धों में बिहार रेजिमेंट शामिल रही है। 1999 में कारगिल युद्ध में रेजिमेंट की पहली बटालियन ने छह-सात जुलाई की रात को पाकिस्तान सेना से एक रणनीतिक क्षेत्र छीन लिया था। बिहार रेजिमेंट ने संयुक्त राष्ट्र के पीस कीपिंग मिशन में भी हिस्सा लिया है। सोमालिया और कांगों में बिहार रेजिमेंट की तैनाती रही है।
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