- मास्क से कान पर पड़ने वाले दबाव को 3डी-प्रिंटेड ईयर गार्ड कम करेगा
- शोधकर्ताओं की टीम का दावा, एंटी-माइक्रोबियल स्प्रे काफी कम कीमत पर उपलब्ध होगा
दैनिक भास्कर
Apr 14, 2020, 10:49 PM IST
नई दिल्ली. आईआईटी गुवाहाटी ने संक्रमण को रोकने लिए एंटी-माइक्रोबियल स्प्रे और 3डी-प्रिंटेड ईयर गार्ड बनाए हैं। रिसर्च टीम का दावा है कि एंटी-माइक्रोबियल स्प्रे को पीपीई किट पर छिड़कने पर संक्रमण से बचाव किया जा सकेगा। 3डी प्रिंटेड ईयरगार्ड की मदद से फेसमास्क को लगाया जा सकेगा। यह कानों पर पड़ने वाले खिंचाव और दबाव को कम करेगा।
पीपीई पर ड्रॉपलेट में हो सकता है वायरस
आईआईटी गुवाहाटी की ओर से जारी बयान के मुताबिक, पीपीई ड्रेस को वायरस से बचाव के लिए डिजाइन किया गया है। लेकिन इसके बाहरी हिस्से पर ड्रॉपलेट (लार के छीटें) के रूप में वायरस मौजूद होना बड़ी बाधा है। ऐसे में पीपीई के रखरखाव में गड़बड़ी या इसे गलत तरह डिस्पोज करने पर संक्रमण फैल सकता है। इस तरह की स्थिति में एंटी-माइक्रोबियल स्प्रे मददगार साबित होगी।
स्प्रे में किटाणु खत्म करने वाले रसायन
एंटी-माइक्रोबियल स्प्रे में कॉपर, सिल्वर और ऐसे रसायनों का प्रयोग किया गया है जो किटाणुओं को खत्म करने का काम करते हैं। आईआईटी गुवाहाटी के बायोइंजीनियरिंग डिपार्टमेंट के प्रोफेसर डॉ. बिमान बी. मंडल के मुताबिक, इस समय देश में प्रभावी और कम कीमत पर उपलब्ध होने वाली तकनीक की मांग है। कोविड-19 के दौर में हम देश की मदद करने की दिशा में लगातार काम कर रहे हैं। इसे तैयार करने वाली टीम में डिपार्टमेंट ऑफ बायोसाइंसेज एंड बायोइंजीनियरिंग के प्रोफेसर डॉ. बिमान बी. मंडल, पीएचडी स्कॉलर बिभास के भूनिया और आशुतोष बंदोपाध्याय शामिल हैं।
ऐसे काम करता है ईयरगार्ड
शोधकर्ताओं की टीम ने ईयरगार्ड को ऐसे डिजाइन किया है कि मास्क के स्ट्रैप को गार्ड पर फंसाया जा सकता है। इससे सिर की चौड़ाई के मुताबिक एडजस्ट किया जा सकता है। इसके इस्तेमाल से कान पर पड़ने वाला दबाव कम होगा।