- राजस्थान की भरतपुर सेवर जेल के हत्या की सजा काट रहे हिमांशु सोलंकी ने थाना इन्चार्ज रामकिशन यादव को फोन पर जानकारी दी
- हिमांशु ने बताया- जेल प्रहरी ने बटन वाला मोबाइल 20 हजार में लाकर दिया, 15 हजार दे चुका हूं, 5 हजार देना बाकी
दैनिक भास्कर
Jun 13, 2020, 11:59 AM IST
भरतपुर. सामान्य आदमी के लिए जेल जाना बेहद बुरा अनुभव रहता हो, लेकिन पेशेवर अपराधियों के लिए यही जेल ऐशो-आराम की जगह होती है। राजस्थान की भरतपुर सेवर जेल के कैदी हिमांशु सोलंकी ने खुद पुलिस अधिकारी को फोन कर बताया कि वहां सबकुछ आसानी से मिल जाता है, बस जेब में मोटी रकम होनी चाहिए। जेल में बटन वाले मोबाइल 20 हजार और टच स्क्रीन वाले 50 हजार रुपए में मिल जाते हैं।
बल्लभगढ़ निवासी हिमांशु सोलंकी 5 महीने पहले हुई हत्या के मामले में सेवर जेल में सजा काट रहा है। शुक्रवार को उसने भरतपुर के सेवर थाना इन्चार्ज रामकिशन यादव के मोबाइल पर फोन किया। परिचय देने के बाद हिमांशु ने बताया कि उसने यादव का नंबर इंटरनेट से निकाला।
ऐसे खुला जेल में काले कारोबार का राज
हिमांशु ने बताया, ‘‘जेल प्रहरी केशव पंडित ने 20 हजार रुपए के बदले उसे बटन वाला नोकिया फोन लाकर दिया था। इसके बदले 15 हजार उसने अपने घरवालों से केशव को दिलवा दिए थे। 5 हजार रुपए देना बाकी हैं, जिसके कारण वो आए दिन मुझसे मारपीट करता है।’’ शिकायत के बाद एसडीएम संजय गोयल और जेल अधीक्षक सुधीर प्रकाश पूनिया बैरक नंबर 2 पहुंचे, जहां हिमांशु बंद था।
जेलर की मौजूदगी में हिमांशु सोलंकी और केशव का आमना-सामना कराया गया। हिमांशु ने बताया कि जेल में बटन वाले मोबाइल के बदले 20 हजार रुपए और टच स्क्रीन मोबाइल के बदले 50 हजार रुपए वसूले जाते हैं। लॉरेंस विश्वोई जैसे कई कुख्यात गैंगस्टर इसकी मदद से जेल में बैठे-बैठे की अपराध करवाते रहते हैं।
जांच होने पर थैले या मिट्टी के नीचे छिपा देते हैं मोबाइल
घटना की पुष्टि होने के बाद जेल प्रहरी केशव पंडित के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली गई है। जांच में पता चला है कि सेवर जेल में जब भी कोई टीम जांच के लिए पहुंचती है तो वहां कैदियों को सचेत कर दिया जता है। इसके बाद कैदी थैली या मिट्टी के नीचे मोबाइल दबा देते हैं। हिमांशु ने यह भी बताया कि उसे जो मोबाइल दिया गया, उसमें 2 सिमें थीं।